गोरखपुर:- पौने दो साल बाद पहली सितम्बर से जिले के समस्त स्कूल खोल दिये गये। बावजूद 35 फीसदी से अधिक स्कूलों में बाढ़ का पानी घुस जाने से बच्चे स्कूल नहीं पहुंच सके। सामान न भीगे इसे बचाने के लिए कही नाव से तो कही पानी में घुसकर शिक्षक स्कूल पहुंचे और कागज-पत्र और सामान को दूसरे स्कूलों में शिफ्ट किया। वहीं कुछ स्कूलों में शिक्षकों को स्कूल पहुंचा देख बच्चे भी पानी में घुसकर स्कूल पहुंच गये। जिन्हे बाद में घर भेज दिया गया। बुधवार को हिन्दुस्तान टीम द्वारा स्कूलों की जांच की गयी तो कुछ इस तरह से देखने को मिला।
कैम्पियरगंज
ब्लाक के कंपोजिट विद्यालय बसंतपुर के परिसर में पानी जमा मिला। जिसमें
घुसकर शिक्षिकाएं व रसोईया स्कूल पहुंची। प्राथमिक व जूनियर विद्यालय ककटही
में भी पानी भरा हुआ मिला। इसी तरह से ब्लाक क्षेत्र के कई अन्य स्कूलों
में भी बारिश व बाढ़ का पानी भरा हुआ मिला। जिसमें से घुसकर शिक्षक स्कूल
पहुंचे।
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पाली
ब्लाक के कंपोजिट स्कूल कोदरी में बारिश का पानी जमा मिला। बावजूद इसके
शिक्षक-शिक्षिकाएं स्कूल पहुंचे। शिक्षकों को स्कूल में देखकर करीब 50 से
अधिक की संख्या में बच्चे भी पहुंच गये। जिन्हे कुछ घंटे बाद छोड़ दिया
गया। इसी ब्लाक का प्राथमिक विद्यालय अमसार चारो तरफ पानी से घीरा मिला।
प्राथमिक विद्यालय मटियारी चारो तरफ पानी से घिरा मिला। यहां के शिक्षक और
नामांकित 68 बच्चे कम्पोजिट परिषदीय विद्यालय मटियरा मे अपनी उपस्थित दर्ज
कर पढ़ाई कर रहे हैं।
पिपरौली ब्लाक के तेनुअन
प्राथमिक विद्यालय में पानी जमा होने के कारण शिक्षकों को नाव का सहारा
लेना पड़ा। स्कूल जाने के लिए शिक्षिकाओं ने नाव पर बैठकर स्कूल पहुंची।
संविलयन विद्यालय बरहुआ परिसर और स्कूल जाने वाले मार्ग पर पानी जमा होने
के बाद भी शिक्षक उसमें से घुसकर स्कूल पहुंचे। हालांकि परिसर से पानी
निकालने के लिए ग्राम प्रधान द्वारा पंपसेट लगाया गया है।
ब्रह्मपुर
ब्लॉक में 25 प्राथमिक विद्यालय एवं जूनियर हाईस्कूल है। जो चारो तरफ पानी
से घिरे हुए है। पानी लगने के कारण स्कूल पर शिक्षक पहुंच रहे हैं और अपनी
उपस्थिति दर्ज कराकर बगल में स्थित किसी के आवास व चौराहों पर स्कूल समय
पर बैठ रहे हैं।
खोराबार ब्लाक पूर्व माध्यमिक
स्कूल झरवा पूरी तरह पानी में डूब गया है। स्कूल भवन का सिर्फ छत दिख रहा
है। इसी तरह पथरा प्राथमिक स्कूल भी चारो तरफ पानी से घिरा हुआ। इसके अलावा
भी दर्जनों स्कूल पानी से घिरे हैं। जहां पर शिक्षकों का भी पहुंचना
मुश्किल है।
बड़हलगंज ब्लॉक के भैसहट प्राथमिक विद्यालय में राप्ती नदी के बाढ़ का पानी घुस जाने से विद्यालय बंद है।
प्राथमिक
विद्यालय पटना बाढ़ व बरसात के पानी से घिर गया हैं। शिक्षकों को पहुंचा
देख पहले दिन होने के कारण बच्चे भी पानी मे घुसकर स्कूल पहुंच गये।
हालांकि पानी कम था। इसी तरह से खजनी के उनवल ब्लाक में भी आधा दर्जन से
अधिक स्कूल आमी नदी के पानी से घिरे हुए हैं।
स्कूल में पहुंचा सांप, बीईओ ने डंडा पीटकर भगाया
पहला
दिन होने के कारण बीईओ अमितेश कुमार जंगल कौड़िया के स्कूलों के निरीक्षण
कर रहे थे। इस दौरान वह प्राथमिक स्कूल रायपुर पहुंचे। जहां निरीक्षण के
दौरान अचानक स्कूल के बरामदे से कक्षा की तरफ सांप आता दिखा। जिसे देख
उपस्थित बच्चे और शिक्षक-शिक्षिकाएं भागने लगे। बीईओ ने पास में स्कूल के
कार्यालय में रखे एक डंडे को लेकर साहस दिखाते हुए फर्श पर पीट-पीट कर सांप
को भगाया। हालांकि सांप स्कूल परिसर से बाहर जाता हुआ नहीं दिखा। ऐसे में
बीईओ ने शिक्षकों को सर्तकता बरतने की बात कहते हुए कहा कि किसी तरह से
लापरवाही नहीं होना चाहिए नहीं तो किसी को भी नुकासान हो सकता है।
लाठी के सहारे स्कूल पहुंचे शिक्षक
कंपोजिट
स्कूल शेरपुर चारो तरफ पानी से घिरा हुआ है। पहला दिन होने के कारण कोई
बच्चा स्कूल न पहुंचे। इसे देखते हुए स्कूल प्रभारी मदन सिंह लाठी के सहारे
स्कूल पहुंचे। करीब दो घंटे का समय बिताने के बाद एक बार फिर वह लाठी के
सहारे बाहर आकर बगल के स्कूल में बच्चों को पढ़ाया।
नाव के सहारे निकाला स्कूल का सामान
प्राथमिक
स्कूल मटियारी पूरी तरह से पानी में डूबा हुआ है। इसके कारण शिक्षकों का
स्कूल पहुंचना मुश्किल हो गया। पानी बढ़ता देख इस स्कूल के शिक्षकों ने दिन
भर नाव के सहारे स्कूल में रखे ऑलमारी से लेकर अन्य सामान नाव के सहारे
बाहर निकाला।
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